एक अजीब सा मंजर नज़र आता है,
हर एक आँसूं समंदर नज़र आता है,
कहाँ रखूं मैं शीशे सा दिल अपना,
हर किसी के हाथ मैं पत्थर नज़र आता है।
ऐसे गये दिल की ज़मी बंजर कर के,
आज तक कोई फूल ना खिल सका,
बस्ती बस्ती लोग मिले हमराह मगर,
फिर कभी तेरा पता ना मिल सका।
कैसे बयान करें आलम दिल की बेबसी का,
वो क्या समझे दर्द आँखों की इस नमी का,
उनके चाहने वाले इतने हो गए है अब कि,
उन्हे जब एहसास ही नहीं हमारी कमी का।
यूँ ना बर्बाद कर मुझे,
अब तो बाज़ आ दिल दुखाने से,
मै तो सिर्फ इन्सान हूँ,
पत्थर भी टूट जाता है इतना आजमाने से।
दिल तो दर्द के सागर में डूब गया,
मगर इन आँखों से रोया ना गया,
कुछ ज़ख्म ऐसे मिले है की,
फूलों के बिस्तर पर भी सोया ना गया।
यूँ तो हर एक दिल में दर्द नया होता है,
बस बयान करने का अंदाज़ जुदा होता है,
कुछ लोग आँखों से दर्द को बहा लेते है,
और किसी की हँसी में भी दर्द छुपा होता है।
Top of the Day
Close your eyes and let the stars watch over you. Good Night!
Beautiful Sunday Tea Images
Compassion is the bridge that connects us all. Good Morning!
Drift off into the cozy warmth of your bed, like a snowflake settling softly on the ground. Good Night!
Life is a series of moments, make each one count. Good Morning!
Wake up, pour a cup of coffee, and let the day begin. Good Morning!